देवबंद: नवाज गर्ल्स पब्लिक स्कूल में आयोजित लेडिज मुशायरें में देश की विख्यात महिला शायरात और कवीत्रियों ने अपने शानदार कलाम पेश कर महिला श्रोताओं से देर शाम तक दाद-ओ-तहसीन हासिल की। मुशायरें का उद्धाटन डीआईजी अजय कुमार साहनी ने पौधों को पानी देकर किया।
तालीमाबाद रोड स्थित नवाज गर्ल्स पब्लिक स्कूल में आयोजित मुशायरें में देश और विदेश में नाम रोशन करने वाली विख्यात शायरा शबीना अदीब ने अपना कलाम पेश करते हुए पढ़ा कि दामन जो आंसुओं से मेरा नम नहीं हुआ, दुनियां समझ रही है मुझे गम नहीं हुआ। अना देहलवी ने पढ़ा कि औरत बनके जीना कोई खेल नहीं, सूरज बनकर रोज निकलना पड़ता है। कवियत्री मोनिका दूबे ने पढ़ा कि बड़े नादान हो तुम भी बड़े मासूम हैं हम भी, वो सपना देखते हैं जो कभी पूरा नहीं होगा। निकहत अमरोहवी ने पढ़ा कि उठ गया यकीं सितरों से अब सितारों के पार देखूंगी, दिल के टुकड़े सजा के पलकों पर सुए परवरदिगार देखूंगी। खुशबु शर्मा ने पढ़ा कि सोने चांदी के गहने भी नहीं देखती मैं, इस कदर कीमती कपड़े भी नहीं देखती मैं, अपने मां-बाप की आंखों से उड़ा दूं नींदें में इतने उलझे हुए सपने भी नहीं देखती मैं। मेहनाज स्योहारवी ने पढ़ा कि एक मोहब्बत ही तो हैं दूनियां में नफरत का इलाज, ना समझ लोगों को कैसें कोई समझाएगा। दानिश गजल ने पढ़ा कि शौखी में मैंने शाख से गुल तोड़ तो लिया, फिर दिल ही दिल में मुझकों नदामत बहुत हुई।
कार्यक्रम में पहुंचे डीआईजी अजय कुमार साहनी ने मुशायरा और कवि सम्मेलन साहित्य और संस्कृति का दर्पण हैं। उन्होंने युवा पीढ़ी से साहित्य पढ़ने का आह्वान किया। मुशयरे की अध्यक्षता कर रही डा. मोनिका वर्मा ने छात्राओं से अपील करते हुए कहा कि वह अपने जीवन में लक्ष्य और उद्देश्य निश्चित कर मेहनत और लगन के साथ आगे बढ़े। उमा सिसोदिया ने कहा कि बेटियां हमारें घरों की रौनक ही नहीं हमारा उज्जवल भविष्य भी हैं। समाज और देश की तरक्की के लिए बेटियों के कांधों पर बड़ी जिम्मेदारी है। स्कूल संस्थापक एवं अंतर्राष्ट्रीय शायर डा. नवाज देवबंदी ने कहा कि यह सिर्फ एक मुशायरा नहीं एक मिशन है। दम तोड़ती संस्कृति, परमपराओं और भाषाओं को जिंदा रख शायरी के माध्यम से नए चिराग जलाकर नई पीढ़ियों को नई रोशनी बांटना है। स्कूल एडमिनिस्ट्रेटर अब्दुल्लाह नवाज ने सभी मेहमानों, शाायरात और श्रोताओं सहित सभी स्टॉफ शुक्रिया अदा किया। इस दौरान एसपी देहात सागर जैन, पालिकाध्यक्ष विपिन गर्ग, पत्नी ऋचा गर्ग सहित अन्य मेहमानों को प्रधानाचार्य फौजिया अब्दुल्लाह ने स्वागत किया।
समीर चौधरी।
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