नई दिल्ली: हरियाणा के रोहतक में 1997 में हुए दो बम धमाकों के मामले में जिले की कोर्ट ने सबूतों के अभाव में अब्दुल करीम टुंडा को बरी कर दिया है। 1997 में ओल्ड सब्जी मंडी और किला रोड लाल मस्जिद के बाहर बम धमाके हुए थे, इसमें लगभग आठ लोग घायल भी हुए थे। सरकारी एजेंसियां कोर्ट के सामने अब्दुल करीम टुंडा के खिलाफ कोई ठोस सबूत पेश नहीं कर पाईं, जिसके चलते कोर्ट ने अब्दुल करीम टुंडा को बरी कर दिया।
इस मामले पर सोमवार को सुनवाई के दौरान कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था, इसी मामले को लेकर दो वकीलों के बीच बहस भी हुई, पहले कोर्ट ने तकनीकी कारणों से 15 फरवरी की तारीख दी थी, लेकिन 15 और 16 तारीख पर फैसला नहीं होने के कारण 17 फरवरी की तारीख दी गई। अब्दुल करीम टुंडा के खिलाफ गवाही बंद कर दी गई है, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान जब अब्दुल करीम टुंडा की पेशी हुई, तो उसने इन बम धमाकों में शामिल होने से इनकार किया।
2013 में नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार हुए अब्दुल करीम टुंडा को रोहतक पुलिस ने दिल्ली पुलिस से प्रोडक्शन वारंट पर लिया था और तभी से अदालत में इस मामले में सुनवाई चल रही थी, इस केस में दो आरोपी पहले ही बरी हो चुके हैं।
समीर चौधरी।
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