रसूले पाक ने दुनिया को दी इंसानियत की तालीम: मुफ्ती मौहम्मद ज़ाहिद {सालार ग़ाज़ी }

रसूले पाक ने दुनिया को दी इंसानियत की तालीम: मुफ्ती मौहम्मद ज़ाहिद {सालार ग़ाज़ी }


अमरोहा: मुस्लिम कमेटी के तत्वावधान में जश्न-ए-ईद-ए-मुलादुन्नबी की 17दिवसीय तकरीबात का 7वां प्रोग्राम 'जलसा-ए-सीरत-ए-पाक' मुहल्ला छेवड़ा स्थित मस्जिद फारुक़ आज़म में ज़ेरे सदारत क़ारी हबीब उल्लाआयोजित हुआ जिसकी निज़ामत हाजी खुरशीद अनवर ने की। जलसे का आगाज़ क़ारी मौहम्मद सना अल्लाह ने कुरआन मजीद की तिलावत से किया तथा मौलाना साद अमरोहवी, हाफिज़ शमीम अमरोहवी ने नाते नबी पेश की। 

बृहस्पतिवार की रात में आयोजित इस जलसे को खिताब करते हुए मशहूर आलिमेदीन हज़रत मुफ्ती मौहम्मद ज़ाहिद साहब ने कहा कि पैगंबर हजरत मोहम्मद मुस्तफा (स.अ.) का पूरा जीवन मानवता की सेवा में गुजरा। जब रसूले पाक इस दुनिया में तशरीफ लाए तो उस समय अरब देश की सामाजिक स्थिति बहुत खराब थी। महिलाओं का कोई सम्मान नहीं था। लोग अपनी बेटियों को जिदा दफन कर देते थे। क़बीलों के लोग आपस में लड़ते रहते थे। लोग शराब और जुए के आदी हो चुके थे। आपसी भाईचारा और प्यार-मोहब्बत खत्म हो चुकl था। मौलाना ने कहा कि इन बुराइयों के खिलाफ रसूले पाक ने आवाज़ बुलंद की और सामाजिक बुराईयों का खात्मा किया। हज़रत मोहममद सल्ल0 की वालिदा का आपके बचपन में ही इंतेक़ाल गया था , आपकी परवरिश चाचा हज़रत अबू तालिब ने की। आपने पूरी जिंदगी मानवता की सेवा में लगा दी। अरब की बिगड़ती हुई सामाजिक दशा को सुधारने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की। रसूले पाक ने पूरे विश्व के लोगों को इंसानियत की तालीम दी। बाद में मौलाना ने मुल्क व कौम की तरक्की व अमन की दुआ कराई तथा रसूले पाक के बताए रास्ते पर चलने की ताकीद की।

इस अवसर पर सदर हाजी नसीम खा, हाजी खुरशीद अनवर, मंसूर अहमद एडवोकेट, अली इमाम रिज़वी, सरताज आलम मंसूरी, हबीब अहमद ऐडवोकेट, निराले मियां अंसारी, यासिर अंसारी, सादिक नबी, रियाजउद्दीन मंसूरी, हाजी ओवैस रिज़वी,सूफ़ी निशांत, शरफू भाई, शुजा उद्दीन, अल्ताफ़ सलमानी,हाजी अनवर, रईस अहमद, ज़फ़र अंसारी आदि मौजूद थे।

रिर्पोट: सलार गाजी
Posted By: Sameer Chaudhary

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