इस्लामिक स्कॉलर मौलाना कलीम सिद्दीकी की गिरफ्तारी अफसोसनाक, जबरदस्ती धर्मांतरण के आरोप बेबुनियाद: मौलाना अरशद मदनी
देवबंद: प्रसिद्ध इस्लामिक स्कॉलर मौलाना कलीम सिद्दीकी की गिरफ्तारी पर जमीयत उलेमा ए हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने कहा है कि यूपी एटीएस द्वारा की गई गिरफ्तारी देश के समस्त न्याय पसंद लोगों के लिए अफसोसनाक है। इसलिए इन लोगों को इसके विरुद्ध आगे आना चाहिए। ताकि सांप्रदायिक शक्तियों की साजिशों को नाकाम बनाया जा सके। मौलाना कलीम सिद्दीकी पर जबरन धर्मांतरण कराने का आरोप सरासर बेबुनियाद है। मौलाना की गिरफ्तारी अफसोसनाक घटना है। कहा कि किसी भी व्यक्ति का जबरन मतांतरण नहीं कराया जा सकता है।
गुरुवार को जारी बयान में मौलाना अरशद मदनी ने कहा कि किसी भी धर्म को अपनाना आस्था से जुड़ा मामला होता है। जबरदस्ती या लालच देकर किसी के धर्म को परिवॢतत कराया जा सकता तो इस्लामिक देशों, विशेष तौर पर सऊदी में रह रहे लाखों गैर मुस्लिमों का भी मतांतरण कराया जा चुका होता। .
मदनी ने कहा कि मौलाना कलीम ने दीन की शिक्षा देने के लिए ही मदरसे कायम किए। कहा कि मदरसों के खर्च के लिए चंदे के रूप में आने वाले पैसे को विदेशी फंडिंग बताना गलत है। मौलाना अरशद मदनी ने मीडिया की भूमिका पर भी सवाल उठाए।
वही मौलाना मदनी ने कहा है इस तरीके की कार्रवाई इत्तेहाद के लिए खतरनाक है और देश में आपसी भाईचारा के खिलाफ और देश के तमाम अमन पसंद लोगों को इस तरह कार्रवाई के खिलाफ आगे आकर मुत्ताहिद होकर लड़ना चाहिए और मजबूती के साथ इसका विरोध करना चाहिए।
मौलाना मदनी ने कहा कि जहां तक विदेशों से फंडिंग का सवाल है तो मौलाना कलीम सिद्दीकी ने हरियाणा, पंजाब आदि क्षेत्रों में जहां मुसलमान बहुत कम है और दीन से बिल्कुल दूर हैं ऐसे लोगों को दीन की शिक्षा देने के लिए मदारिस कायम किए हैं। मदारिस के खर्च के लिए चंदे के रुप में उनके पास जो धनराशि आती है। जिसका उपयोग वह शिक्षा देने में करते हैं। मौलाना मदनी ने कहा कि इलेक्ट्रोनिक मीडिया पर मौलाना कलीम सिद्दीकी की गिरफ्तारी को जिस प्रकार प्रसारित किया जा रहा है। उसकी जितनी निंदा की जाए कम है। कहा कि मीडिया का किसी भी मामले में जज बन जाना सरासर गलत है।
रिर्पोट- समीर चौधरी
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