देवबंद: इस्लामी तालीम के प्रमुख केंद्र दारुल उलूम की सुप्रीम पावर मजलिस-ए-शूरा की बैठक में सर्वसम्मति से कई अहम फैसले लिए गए। इसमें पंजाब के मलेरकोटला निवासी मुफ्ती खलील को शूरा का सदस्य बनाया गया। कई पदों पर नियुक्ति की गई और कासमी कब्रिस्तान को बढ़ाने के लिए दारुल उलूम ने जमीन देने के प्रस्ताव को हरी झंड़ी दी।
दारुल उलूम के मेहमानखाने में तीन दिवसीय मजलिस-ए-शूरा की बुधवार को कई महत्वपूर्ण निर्णयों के साथ संपन्न हुई। इसमें रिक्त शूरा सदस्य के पद पर शूरा सदस्यों ने कई नामों पर चर्चा की। अंत में पंजाब के मुफ्ती खलील के नाम पर मुहर लगाई गई। इसके अलावा बैठक में कासमी कब्रिस्तान में जगह की किल्लत को देखते हुए शूरा ने संस्था की ओर से कब्रिस्तान को बढ़ाने के लिए भूमि देने का प्रस्ताव को हरी झंडी गई। दारुल उलूम के मोहतमिम मौलाना मुफ्ती अबुल कासिम नोमानी ने बताया कि सभी विभागों के विभागाध्यक्षों ने अपनी-अपनी रिपोर्ट पेश की। जिन पर सदस्यों ने संतुष्टि जताई। एकाउंट विभाग सहित कुछ नए पदों पर नियुक्तियां की गईं और साक्षात्कार को अंतिम रूप दिया गया। उन्होंने बताया कि कुछ लोगों की तरक्की भी की गई है। इस मौके पर सदर मुदर्रिस मौलाना अरशद मदनी, मौलाना महमूद मदनी, पूर्व सांसद मौलाना बदरुद्दीन अजमल, मौलाना रहमतउल्लाह कश्मीरी, मौलाना महमूद राजस्थान, मौलाना हबीबुर्रहमान, मौलाना अनवार्रुहमान बिजनौर, मौलाना अंजर हुसैन मियां देवबंदी, मौलाना शफीक बैंगलुरु आदि मौजूद रहे।
समीर चौधरी।
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