पवित्र कुरान-ए-पाक की तौहीन किए जाने की भारत ने की कड़ी शब्दों निंदा, संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तान द्वारा लाए गए निंदा प्रस्ताव का भारत सहित 28 देशों ने किया समर्थन।

नई दिल्ली/ जिनेवा: हाल ही में स्वीडन में इस्लाम धर्म की पवित्र किताब कुरान-ए-पाक की तौहीन किए जाने की संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में भारत ने कड़े शब्दों में निंदा की है और उसे पूरी तरह अस्वीकार कृत्य कहा है। 

बुधवार को कई मुस्लिम देशों के समर्थन से पाकिस्तान द्वारा लाए गए इस प्रस्ताव का भारत सहित 28 देशों ने समर्थन किया जबकि 12 देशों ने प्रस्ताव के विरोध में मत दिया। भारत इस 47 देशों की सदस्यता वाली परिषद में शामिल है। 

प्रस्ताव में कहा गया है कि पवित्र कुरान को पूर्वनियोजित तरीके से और सार्वजनिक रूप से अपवित्र करने का जो कृत्य किया गया वह निंदनीय है। यह कृत्य करने वालों का उद्देश्य धार्मिक घृणा फैलाना था। इसे अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार कानून का उल्लंघन कहा गया है। प्रस्ताव में इस कृत्य को करने वाले और उसके लिए षडयंत्र तैयार करने वालों के लिए कड़े दंड की मांग की गई है।
प्रस्ताव के समर्थन में भारत, चीन, पाकिस्तान, बांग्लादेश, यूएई, क्यूबा, मलेशिया, मालदीव सहित 28 देशों ने मतदान किया जबकि बेल्जियम, फिनलैंड, फ्रांस, जर्मनी, ब्रिटेन और अमेरिका सहित 12 देशों ने प्रस्ताव के विरोध में वोट डाला। प्रस्ताव में परिषद के उच्चायुक्त से अनुरोध किया गया है कि धार्मिक घृणा फैलाने का कृत्य करने वाले और उनका समर्थन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाए। साथ ही ऐसे प्रविधान किए जाएं कि पवित्र पुस्तकों को अपवित्र करने और इसी तरह के अन्य कृत्यों के करने पर रोक लगे।

पीटीआई के इनपुट्स के साथ, 
समीर चौधरी।

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