गुरुग्राम में हिंदूवादी संगठनों ने नमाज की जगह फैलाए उपले, चयनित स्थानों में से चार स्थानों पर इस बार भी नहीं अदा की जा सकी नमाज ए जुमा।

गरुग्राम में हिंदूवादी संगठनों ने नमाज की जगह फैलाए उपले, चयनित स्थानों में से चार स्थानों पर इस बार भी नहीं अदा की जा सकी नमाज ए जुमा।
गुरुग्राम: सैक्टर 12 में नमाज़ अदा करने की जगह हिन्दू संगठनों के कार्यकर्ताओं ने रातो रात उपले थेप कर विवाद खड़ा करने की कोशिश की। इस कारण मुसलमानों ने विवादित बनाई जा रही सैक्टर 12 की जगह को छोड़ कर एक हिन्दू धर्म से ताल्लुक रखने वाले व्यक्ति घर पर नमाज अदा की गई। उल्लेखनीय है कि सैक्टर 12 में तौफीक अहमद की देख रेख में 3 बार नमाज ए जुमा अदा की गई 

काबिल ए गौर मामले यह है कि जिस तरह से हिन्दू भाई ने नमाज जुमा अदा कराने के लिए पहल की है। और अपनी निजी जगह देकर गुरुग्राम के हिन्दु मुस्लिम समुदाय के भाईचारा को बचाया है वो एक एतिहासिक कार्य है 

उल्लेखनीय है कि गुड़गांव के सेक्टर 18 के सरहोल गांव में एक बार फिर जगह बदल कर जुमा की नमाज अदा की गई।
जब की चयनित जगह पर कट्टरपंथियों द्वारा बदिंश जारी रही।
इस अवसर पर सैक्टर 57 की मस्जिद अंजुमन मे नमाज अदा करने पहूंचे मुस्लिम पर्सनला बोर्ड के सदस्य एंव पुर्व राज्यसभा सांसद मौहम्मद अदीब ने मीडिया कर्मियों से बातचीत करते हुए कहा कि। जिस तरह से गुरुग्राम में नमाज़ जुमा अदायगी मामले को विवादित बनाया जा रहा है। उस से नही लगता है कि कहीं मानवता बची है? 

उन्होंने कहा कि शर्म की बात है कि आज गुरुग्राम में नमाज़ जुमा का सजदा खाकी वर्दी के साए में अदा किए जा रहे है। 
उन्होंने मस्जिद अंजुमन के तामीरी मामले को हिन्दू संगठनों द्वारा सुप्रीम कोर्ट में ले जाकर तीसरी मजिंल की तामीर को रुकवाने मामले का सख्त संज्ञान लिया। उन्होंने कहा कि जहां नमाज़ जुमा को खुले में पडने से रोका जा रहा है वहीं गुरुग्राम मे शीतला माता मंदिर क्षेत्र की मस्जिद की 2018 से आज तक तालाबंदी की हुई है वही अंजुमन मस्जिद की तामीर को कोर्ट में ले जाकर रूकवाया हुआ है। मौहम्मद अदीब ने कहा कि इस वक्त कोर्ट, मीडिया और शासन प्रशासन गुरुग्राम की स्तिथि को समझते हुए अपनी अपनी जिम्मेदारी को बखूबी निभाते हुए देश को बचाने का काम करे 

जमियत उलेमा हिंद गुरुग्राम महासचिव मौलाना साबिर कासमी ने मीडिया के सामने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि काबिल ए गौर बात यह है कि इस हफ्ते की शुरुआत में, दक्षिणपंथी समूहों ने जिस तरह से गुड़गांव में मुसलमानों के तथाकथित प्रतिनिधियों के रूप में जुमा अदायगी मामले में आरएसएस विंग मुस्लिम राष्ट्रीय मंच को खड़ा किया और फिर आसानी से उन जगहों की संख्या कम कर दी गई जहां नमाज ए जुमा 20 सालों से होती आ रही थी। 

गुरुग्राम मुस्लिम काउंसिल के कार्यकारिणी के मुख्य सदस्य एंव गुड़गांव नागरिक एकता मंच के सह संस्थापक अल्ताफ अहमद ने कहा कि हालात और घटनाक्रम बता रहे हैं कि इस समस्या का समाधान उस समय तक नहीं हो सकता जब तक सरकार 113 सैक्टर में मस्जिदों के निर्माण के लिए जमीन आवंटित नहीं करती। उन्होंने कहा कि इस समस्या का समाधान भी आज सरकार के पाले में है सरकार जब चाहे इस समस्या का आगे आकर हल कर सकती है ताके मुस्लिम समुदाय सम्मान के साथ अपनी नमाज मस्जिदों में अदा कर सके।

मुफ्ती सलीम बनारसी ने कहा कि गुरुग्राम मुस्लिम काउंसिल जमा अदायगी मामले में कट्टरपंथियों द्वारा डाले जा रहे खलल पर पुरी तरह नजर बनाए हुए है। यह मामला सरकार के पाले में है हम इंतजार कर रहे हैं सरकार कब इस पर संज्ञान लेते हुए विवाद का समाधान कराती है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि हमे खुले में नमाज़ जुमा अदायगी का शौक नही है बल्कि मजबूरी है इस लिए सरकार इस समस्या का हल कुल 113 सैक्टर में मस्जिदों के लिए जगह आवाटिंत करने से ही होगा ताके इस समस्या का हमेशा के लिए समाधान हो जाए।

DT Network

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